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जयपुर । सबसे कम उम्र की सांसद को मिली ये बड़ी जिम्मेदारी, अब राजस्थान की जनता को मिलेगा फायदा ।जयपुर । राजस्थान के भरतपुर लोकसभा क्षेत्र से प्रदेश की सबसे छोटी उम्र की सांसद संजना जाटव को संसद में बड़ी जिम्मेदारी मिली है। संजना को जल संसाधन समिति का सदस्य बनाया गया है। राजीव प्रताप रूडी को इस समिति के चेयरपर्सन है। संजना जाटव ने कमेटी में शामिल होने पर कहा कि ‘राजस्थान में पानी की समस्या से अवगत करवाने का काम करूंगी।’
बताते चलें कि जिस समिति का सांसद संजना जाटव को सदस्य बनाया गया है। वह नमामि गंगे समेत देशभर में सिंचाई और पानी से जुड़ी समस्याओं को सुलझाने का काम करती है। माना जा रहा है कि संजना के कमेटी में सदस्य बनाए जाने से राजस्थान को बड़ा लाभ मिल सकता है।
जिम्मेदारी का ईमानदारी से निर्वहन करूंगी- संजना ।
सांसद संजना जाटव ने कमेटी में शामिल किए जाने पर कहा कि मुझे समिति ने जो जिम्मेदारी सौंपी है। उसका निर्वहन ईमानदारी से करूंगी। लगातार क्षेत्र में पानी की समस्या को संसद में उठाने की वजह से ही मुझे जल संसाधन समिति का सदस्य नियुक्त किया गया है। इस कमेटी के माध्यम से लोकसभा क्षेत्र और राजस्थान में पानी की समस्या से अवगत कराने का कार्य करूंगी।
31 सांसद इस कमेटी में शामिल ।
जल संसाधन समिति संसद की स्थायी समितियों में से एक है जिसके अन्तर्गत जल संसाधन, नदी विकास और गंगा कायाकल्प के कार्य है। इस समिति में लोकसभा और राज्यसभा के 31 सांसदों शामिल हैं। समिति के अंतर्गत प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की कई महत्वाकांक्षी योजनाएं आती है। जिनका कार्यान्वयन और भविष्य की योजनाओं की प्लानिंग भी इसके द्वारा किया जाता है।
बेटे की रील वायरल होने के बाद किया था 'बचाव':डिप्टी सीएम दिल्ली तलब, प्रदेशाध्यक्ष बोले- जानकारी ली है..!!
जयपुर। डिप्टी सीएम डॉ. प्रेमचंद बैरवा के बेटे और उसके दोस्तों के साथ खुली जीप में पुलिस एस्कॉर्ट के साथ बनाई रील का विवाद तूल पकड़ गया है। इस विवाद में बैरवा द्वारा ‘बचाव’ वाले बयान पर हाई कमान ने उनके गैर जिम्मेदाराना बयान पर नाराजगी जताई और दिल्ली तलब किया है। प्रदेशाध्यक्ष मदन राठौड़ से पूरी रिपोर्ट मांगी गई है। इधर, राष्ट्रीय संगठन महामंत्री बीएल संतोष के जयपुर प्रवास के दौरान वायरल हुई रील से संगठन भी नाराज है। बेटे और उसके दोस्तों के पक्ष में बयान देने पर बैरवा सोशल मीडिया पर भी ट्रोल हो रहे हैं।
भाजपा प्रदेशाध्यक्ष मदन राठौड़ ने बताया कि डिप्टी सीएम प्रेमचंद बैरवा से मामले की जानकारी ली है। बैरवा ने बताया कि उनकी गाड़ी नहीं थी। बच्चे साथ पढ़ते हैं तो एक साथ चले गए। बच्चों से गलती हो गई। एेसे में पार्टी ने इस मामले को यहीं समाप्त कर दिया है। इधर, डिप्टी सीएम प्रेमचंद बैरवा ने फोन नहीं उठाया। दूसरी ओर, डीसीपी (ट्रैफिक) सागर राणा का कहना है कि खुली जीप का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है। इस रील में एस्कॉर्ट कर रही गाड़ी पुलिस विभाग की नहीं है। यातायात नियमों के अवहेलना के संबंध में जांच करवाई जा रही है।
ट्रेन की चपेट में आने से युवक की मौत:काम पर जाने के लिए निकला था, मामले की जांच में जुटी पुलिस..!!
जोधपुर। हादसे के बाद कुछ देर के लिए मालगाड़ी को मौके पर ही रोका गया।
जोधपुर के लूणी क्षेत्र में शनिवार शाम को मालगाड़ी की चपेट में आने से एक युवक की मौत हो गई। घटना के बाद मालगाड़ी को मौके पर ही रोक दिया गया। सूचना मिलने के बाद मौके पर पहुंची जीआरपी पुलिस ने मृतक के परिजनों को सूचना दी और शव को मॉर्च्युरी पहुंचाया।
जीआरपी चौकी प्रभारी कंचन राठौड़ ने बताया- शनिवार शाम को लूणी जंक्शन से कुछ दूरी पर सतलाना फाटक सी-1 के गोलाई के पास से गुजर रही मालगाड़ी की चपेट में आने से एक युवक की मौत हो जाने की सूचना मिली थी। मृतक की पहचान लूणी के इंद्रा कॉलोनी निवासी दिलीप जीनगर पुत्र विशनाराम जीनगर (32) के रूप में हुई है।
दिलीप पेशे से मजदूर था। शनिवार सुबह काम पर जाने के लिए निकला था। दिलीप दो बच्चों का पिता था। पुलिस ने शव का पोस्टमॉर्टम करवाकर परिजनों को सौंप दिया है। अब पुलिस इस मामले में जांच कर रही है कि दिलीप ट्रेन की चपेट में कैसे आया।
RAC जवानों से भरे वाहन में लगी आग:ड्राइवर भीड़ से दूर ले गया; गांव वालों की मदद से पाया काबू..!!
बाड़मेर। जोधपुर से आरएसी जवानों को लेकर समदड़ी जा रहे पुलिस वाहन में अचानक आग लग गई। ड्राइवर ने सूझबूझ दिखाई और वाहन को आबादी इलाके से दूर ले गया। इसके बाद ग्रामीणों की मदद से आग पर काबू पाया।
घटना बालोतरा जिले के समदड़ी थाने के पास शनिवार रात की है। आग लगने के कारणों का पता नहीं चला। वाहन को थाने के पास खड़ा कराया है। हादसे के वक्त वाहन में 6 से ज्यादा जवान थे।
पुलिस के अनुसार- शनिवार रात जोधपुर से आरएसी के जवानों को समदड़ी थाने ले जाया जा रहा था। रात 10.30 बजे थाने से 300-400 मीटर दूर बस स्टैंड के पास वाहन में आग लग गई। ड्राइवर वाहन को भीड़ से दूर ले गया।
वहां जवानों को उतारा। आग भड़की तो अफरा-तफरी मच गई। लोग भी मौके पर जुट गए और बाल्टियों में पानी भर आग बुझाने का प्रयास शुरू किया। कुछ लोग पेट्रोल पंप से फायर कंट्रोल सिस्टम ले आए। समय रहते आग पर काबू पा लिया गया।
समदड़ी थानाधिकारी गीता कुमारी ने बताया- घटना में किसी तरह की जनहानि नहीं हुई। प्रथम दृष्टया आग वायरिंग में शॉर्ट सर्किट होने से लगी। फिलहाल जांच की जा रही है।
सांसद हनुमान बेनीवाल पहुंचे म्यूजियम सर्किल, कस्वां मामले में तनाव:बोले- हमने सारी मांगें रख दीं, अब तो लाठी-भाटा हो सकता है..!!
बीकानेर। नागौर सांसद हनुमान बेनीवाल धरना-स्थल पहुंचे और लोगों से मिले।
बीकानेर के पांचू निवासी जवान रामस्वरूप कस्वां को शहीद का दर्जा दिलाने की मांग को लेकर रविवार पांचवें दिन भी धरना-प्रदर्शन जारी है। हालांकि रविवार सुबह नेशनल हाईवे-11 खोल दिया गया है। परिजनों ने सोमवार को कलेक्ट्रेट घेराव की चेतावनी दी है। शनिवार रात 12 बजे तक करीब एक हजार लोग धरना स्थल म्यूजियम सर्किल (NH-11) पर जुटे थे। शनिवार को धरने में पहुंचे नागौर सांसद हनुमान बेनीवाल ने कहा कि सारी मांगें सरकार के सामने रख दीं, अब तो लाठी-भाटा हो सकता है।
बेनीवाल कल दोपहर बीकानेर पहुंचे थे। वे म्यूजियम सर्किल पहुंचे और जवान के भाई श्रीराम कस्वां से बात की। रात 12 बजे तक बेनीवाल वहीं रहे।
बता दें कि बीकानेर के जवान रामस्वरूप कस्वां (24) की 25 सितंबर को अनंतनाग में गोली लगने से मौत हुई थी। प्रारंभिक तौर पर सामने आया था कि ऑन ड्यूटी फायरिंग के दौरान जान गई, जिसे बाद में सुसाइड बताया गया। अब परिवार शहीद का दर्जा देने समेत अन्य मांग कर रहा है। शव अब तक मिलिट्री कैंट एरिया (बीकानेर) में स्थित सरकारी अस्पताल में ही रखा हुआ है।
शनिवार को बेनीवाल ने रक्षा मंत्री से बात की ।
नागौर सांसद हनुमान बेनीवाल ने कल दो बार रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह और राज्य के सैनिक कल्याण मंत्री राज्यवर्द्धन सिंह से बातचीत की। डेढ़ घंटे तक प्रशासनिक अधिकारियों के साथ मीटिंग भी हुई। लेकिन सहमति नहीं बन सकी।
देर रात करीब 12 बजे जब प्रशासन से वार्ता विफल हो गई तो बेनीवाल ने कहा- हमने सारी मांगें कर ली, प्रशासन नहीं मान रहा है। अब लाठी-भाटा हो सकता है।
गार्ड ऑफ ऑनर के लिए तैयार नहीं प्रशासन ।
जिन मांगों को लेकर प्रशासन और कस्वां परिजनों के बीच ठनी हुई है, वह अंतिम संस्कार से पहले सेना की ओर से दिया जाने वाला गार्ड ऑफ ऑनर है। प्रशासन का कहना है कि शहीद का दर्जा मिलने तक गार्ड ऑफ ऑनर नहीं दिया जा सकता।
परिजन इस बात पर सहमत हैं कि सेना नहीं कर सकती है तो पुलिस ही ये काम कर दे। जिला प्रशासन के अधिकारी इसके लिए भी तैयार नहीं हैं। कस्वां के शव को तिरंगे में लपेटकर अंतिम संस्कार स्थल तक ले जाने पर सहमति बनी लेकिन गार्ड ऑफ ऑनर (हवा में फायर करना) नहीं करने पर दोनों पक्षों में फिर से ठन गई।
शहीद का दर्जा कब ?
आंदोलन से जुड़े नेता भी स्वीकार कर रहे हैं कि कोर्ट ऑफ इन्क्वायरी के बाद ही कस्वां को शहीद का दर्जा मिल सकता है। इस मांग पर परिजन व आंदोलनकारी नेता प्रशासन के साथ खड़े हो रहे थे लेकिन गार्ड ऑफ ऑनर की बात नहीं मानने के बाद अब एक बार फिर शहीद का दर्जा देने पर ही शव लेने की बात पर अड़ गए।
जिला सैनिक अधिकारी पर कार्रवाई नहीं ।
आंदोलनकारियों व परिजनों में इस बात को लेकर आक्रोश है कि जिला सैनिक अधिकारी पर प्रशासन की ओर से अब तक कोई कार्रवाई नहीं की गई है। इस मांग पर प्रशासन सहमत है कि जिला सैनिक अधिकारी को हटा दिया जाए।
लेकिन इस संबंध में आदेश अब तक सार्वजनिक नहीं किए गए हैं। आंदोलन से जुड़े नेताओं का कहना है कि ये आदेश ही सार्वजनिक हो जाए तो आधी मांग पूरी हो जाएगी। प्रशासनिक अधिकारी इस पूरे मुद्दे पर कुछ भी बोलने के लिए तैयार नहीं हैं।
संविदा नौकरी के लिए तैयार ।
कस्वां की पत्नी को संविदा पर नौकरी देने की मांग पर जिला प्रशासन ने सहमति जताई है। सरकारी नौकरी देने की मांग पर सहमति नहीं बनी। आमतौर पर शहीद की पत्नी को सरकारी नौकरी दी जाती है। संविदा नौकरी के लिए भी परिजन तैयार हैं।
नेशनल हाईवे खोला ।
बीकानेर-जयपुर नेशनल हाईवे बंद होने के कारण बड़ी संख्या में लोग परेशान रहे। रामस्वरूप कस्वां के भाई श्रीराम कस्वां ने दैनिक भास्कर को बताया-आम जनता की परेशानी को देखते हुए सिर्फ रास्ता खोला गया है। धरना वहीं पर जारी रहेगा। घर के सभी लोग नेशनल हाईवे के पास ही धरने पर बैठेंगे।
म्यूजियम चौराहा पिछले तीन दिन से पूरी तरह बंद रहा। ऐसे में वाहनों की संख्या अन्य रास्तों पर बढ़ गई थी। अम्बेडकर सर्किल पर दबाव बढ़ा हुआ था।
एसपी ने कहा- इस पर बाद में बात करेंगे ।
इस संबंध में बीकानेर एसपी कावेंद्र सिंह सागर से जब पत्रकारों ने दो दिन से नेशनल हाईवे जाम होने पर पूछा तो जवाब देने से इनकार कर दिया। एसपी का कहना था कि इस मुद्दे पर फिलहाल बात नहीं करेंगे।
प्रिय एसबीआई ग्राहक ।
केवाईसी अपडेट करने, रिवार्ड प्वाइंट रिडीम करने, बिजली बिल का भुगतान करने आदि के लिए लिंक पर क्लिक करने का अनुरोध करने वाले धोखाधड़ी वाले एसएमएस से सावधान रहें
ऐसे एसएमएस फर्जी हैं ।
सांचौर । सांचौर को जिला बनाए रखने की मांग, शहर बंद : कलेक्टर ने चार दिन बाद पूर्व राज्यमंत्री का अनशन तुड़वाया, धरना जारी..!!
सांचौर । पिछले साल अगस्त महीने में पूर्व सीएम अशोक गहलोत ने 19 नए जिलों की घोषणा की। इनमें सांचौर भी था। ऐलान के बाद इलाके में खुशी की लहर दौड़ गई। विधानसभा चुनाव में गहलोत सरकार को हार का सामना करना पड़ा। भाजपा की सरकार आई। नए जिलों के रिव्यू के लिए उप मुख्यमंत्री प्रेम चंद बैरवा के संयोजन में कैबिनेट सब-कमेटी बनाई गई। कहा जा रहा है कि नए बने छोटे जिलों पर संकट आ सकता है।
ऐसे में सांचौर को जिला बनाए रखने की मांग को लेकर चार दिन से धरना-प्रदर्शन जारी है। शनिवार को प्रदर्शन का चौथा दिन है। संघर्ष समिति के आह्वान पर शहर पूरी तरह से बंद है। जिला मुख्यालय पर कलेक्ट्रेट के बाहर हजारों की संख्या में लोग धरने पर बैठे हैं।
वहीं, पिछले चार दिनों से अनशन पर बैठे 76 वर्षीय पूर्व राज्यमंत्री सुखराम बिश्नोई की मेडिकल जांच में कीटोन प्लस 3 पाया गया। ऐसे में धरने में मौजूद लोगों ने उनसे अपील की कि स्वास्थ्य को देखते हुए अनशन तोड़ दें, लेकिन धरना जारी रखें। इसके बाद, शनिवार दोपहर 3 बजे कलेक्टर शक्ति सिंह ने पूर्व मंत्री सहित अन्य को जूस पिलाकर अनशन तुड़वाया।
धरना स्थल के साथ ही हाईवे पर जाम के मद्देनजर प्रशासन अलर्ट मोड पर था मुख्य बाजार से लेकर छोटे-बड़े कस्बे, निजी अस्पताल और निजी स्कूलों से लेकर सरकारी स्कूलें भी बंद व छात्रों ने भी स्कूलों के बाहर और रैली निकालकर विरोध-प्रदर्शन किया।
पूर्व मंत्री की तबीयत लगातार बिगड़ी ।
धरने के दौरान पूर्व मंत्री सुखराम बिश्नोई सहित कई अन्य नेता और सामाजिक कार्यकर्ता कलेक्ट्रेट के बाहर जिले को यथावत रखने की मांग को लेकर प्रदर्शन कर रहे हैं। इस दौरान सुखराम बिश्नोई की तबीयत लगातार बिगड़ रही है और डॉक्टरों ने उन्हें अस्पताल में भर्ती होने की सलाह दी है, लेकिन उन्होंने धरना स्थल छोड़ने से इनकार कर दिया है। शनिवार दोपहर 3 बजे मेडिकल जांच में कीटोन प्लस 3 पाया गया। ऐसे में धरने में मौजूद लोगों ने उनसे अपील की कि स्वास्थ्य को देखते हुए अनशन तोड़ दें, लेकिन धरना जारी रखें। इसके बाद, कलेक्टर शक्ति सिंह ने पूर्व मंत्री सहित अन्य को जूस पिलाकर अनशन तुड़वाया।
आसपास के सभी कस्बों में भी बंद का असर ।
सांचौर के अलावा जिले के अन्य छोटे-बड़े कस्बों और बाजारों में भी बंद का व्यापक असर देखा गया। निजी स्कूलों ने छुट्टी की घोषणा की, जबकि सरकारी स्कूलों के छात्र अपने स्कूलों के मुख्य द्वार पर ताले लगाकर विरोध-प्रदर्शन कर रहे हैं। इस आंदोलन में बच्चे भी सक्रिय रूप से भागीदारी कर रहे हैं और जिले को बनाए रखने के समर्थन में सड़कों पर उतरे हैं।
प्रशासन की कड़ी सुरक्षा व्यवस्था ।
बंद और धरना प्रदर्शन को देखते हुए जिले में प्रशासन और पुलिस ने सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए हैं। जिला प्रशासन हालात पर कड़ी नजर बनाए हुए है और किसी भी अप्रिय घटना को टालने के लिए सतर्क है। जिला कलेक्टर शक्ति सिंह ने स्थिति पर निगरानी रखने के लिए दो कार्यपालक मजिस्ट्रेट नियुक्त किए हैं।
सांचौर को जानिए ।
सांचौर गुजरात बॉर्डर क्षेत्र से सटा हुआ हैं। यहां किसी जमाने में सजा के तौर पर सरकारी कर्मचारियों की पोस्टिंग हुआ करती थी, लेकिन धीरे धीरे समय के साथ सांचौर विकास की ओर अग्रसर हो गया। अब नर्मदा नहर आने के बाद चारों तरफ हरियाली है। गुजरात नजदीक होने के कारण उद्योग धंधे भी बढ़ गए है। वहीं विश्व की सबसे बड़ी गोशाला का खिलाफ भी सांचौर के नाम है।
सांचौर जिले के पास पथमेड़ा गांव में स्थित गोधाम महातीर्थ आनंदवन पथमेड़ा, जो आज गोसेवा को लेकर देश ही नहीं विश्व में भी एक प्रेरणा है हजारों की संख्या में गोवंश की कई सालों से सेवा की जा रही है। इतना ही नहीं गोलासन नंदी शाला में हजारों नदीयों की भी सेवा की जा रही है। सांचौर के पथमेड़ा में आज के समय एक लाख से अधिक गोवंश है।
सांचौर जिले की जीवन दायिनी नर्मदा नहर ।
1993 में नर्मदा नहर के प्रोजेक्ट की शुरुआत हुई और इस जिले का भाग्य तब जागा जब 2008 में इस नर्मदा नहर का उद्घाटन किया था। सांचौर में जैसे ही खेती की पैदावार होनी शुरू हुई तो बच्चों की पढ़ाई से लेकर कारोबार भी बढ़ने लगा और जैसे ही सांचौर से नेशनल हाईवे 68 निकला तो सांचौर विधानसभा के चार चांद लग गए। गुजरात से सरदार सरोवर बांध से निकलने वाली नर्मदा नहर ने मारवाड़ के लिए वाकई कमाल कर दिया। इसी की बदौलत जालोर और बाड़मेर की प्यास बुझ रही है खेतों में हरियाली है।
सुखा बंदरगाह बना तो भारत में अलग पहचान होगी सांचौर की ।
यहां पर पहले सुखा बंदरगाह बनने की चर्चा बहुत चली। भविष्य में सुखा बंदरगाह बनता है तो यह सांचौर के लिए सौभाग्य की बात होगी। यह बन गया तो सांचौर की भारत में अलग ही पहचान बन जायेगी। वहीं मुंद्रा पोर्ट में विदेशों से आने वाला सामान इस सूखे बंदरगाह में उतरेगा। इससे लोगों आम जरूरतों का सामान के ट्रांसपोर्ट का खर्चा भी कम हो जाएगा।
16वां कन्जर्वेशन है रणखार ।
प्रदेश में पहले 15 कन्जर्वेशन थे। 16वां रणखार को बनाया गया है। यह चितलवाना उपखंड के खेजडियाली ग्राम पंचायत में स्थित है। सरकार ने यहां पर रणखार कन्जर्वेशन के लिए 7 हजार 2 सौ 88.61 हेक्टेयर जमीन को कन्जर्वेशन रिजर्व घोषित किया गया।
एक्सप्रेस-वे व सांचौर अहमदाबाद रोड के कारण उद्योग को बढ़ावा मिला ।
सांचौर गुजरात के नजदीक होने का फायदा मिला कि इस क्षेत्र के लोगों को रोजगार सीमावर्ती शहरों में मिल जाता था, लेकिन धीरे धीरे गुजरात को कनेक्टिविटी अच्छी हुई। सड़कों के कारण अब स्टील का उद्योग भी सांचौर में बढ़ रहा है। अहमदाबाद से सांचौर सिक्स लेन रोड बनने के बाद स्टील का उद्योग ज्यादा बढ़ेगा।
लूणी नदी का पूरा बहाव क्षेत्र सांचाैर में ।
पहले लूणी नदी जालोर के गांवों से गुजरती थी, लेकिन अब सांचौर जिला बनने के बाद लूणी नदी का बहाव क्षेत्र पूरा सांचौर जिले में आ गया हैं। बाड़मेर जिले से लूणी नदी अब सीधे बागोड़ा के पास से सांचौर जिले में प्रवेश करेगी।
गोगाजी की ओरडी ।
शहर में गोगाजी की ओरडी है। इसके सवाल आईएएस के परीक्षा में भी पूछा जा चुका है कि गोगाजी की ओरडी किस जिले में है। पहले यह जालौर जिले का पार्ट था, लेकिन अब सांचौर जिले में हो गई है।
गोलासन हनुमानजी का मंदिर ।
सांचौर जिले के गोलासन ग्राम में स्थित प्राचीन विशाल हनुमानजी मंदिर उपखंड क्षेत्र ही नहीं बल्कि आसपास के क्षेत्रों की जनता के आस्था का केन्द्र बना हुआ है। मंदिर में हर पूर्णिमा को मेला लगता है। मंदिर करीब 700 वर्ष पुराना बताया जा रहा है ।
बाप पुलिस ने किया ट्रैक्टर चोरी की वारदात का खुलासा, आरोपी गिरफ्तार
पंचायत भवन की छत गिरने के मामले में जेतङासर सरपंच निलंबितसेवा पंखवाङा : मरुधर हॉस्पिटल बाप में रक्तदान शिविर आयोजित
बारु से पैदल यात्री संघ हुआ रवाना
किसानों के खून में 10 जानलेवा कीटनाशक, इनसे कैंसर हो रहा ।
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